Madhya Pradesh Forest Based Industry | मध्यप्रदेश वन आधारित उद्योग


mp ke krishi wale udyog

वन आधारित उद्योग (Forest Based Industry)

 कागज उद्योग (Paper Industry)

  • मध्यप्रदेश में 77, 414 वर्ग किमी. क्षेत्र पर वनों का विस्तार है , वन क्षेत्रफल की दृष्टि से यह देश में प्रथम स्थान पर है। विस्तृत एवं समृद्ध वन संसाधनों के आर्थिक दोहन के लिए राज्य में वनों पर आधारित विभिन्न उद्योगों का विकास किया गया है ,जैसे -कागज , बीड़ी , कत्था , लकड़ी ,प्लाईवुड आदि।
  •  कागज उत्पादन के लिए राज्य में सर्वप्रथम वर्ष 1956 में नेपानगर (बुरहानपुर) में नेशनल न्यूज प्रिंटर पेपर मिल की स्थापना की गई थी । इसके अतिरिक्त, निजी क्षेत्र की कंपनी बिड़ला द्वारा अमलाई (अनूपपुर) मैं ओरिएंट पेपर मिल की स्थापना की गई है। वर्तमान में राज्य में कागज निर्माण के 9 कारखाने स्थित है।
  • वर्ष 1968 में होशंगाबाद में सिक्योरिटी पेपर मिल की स्थापना हुई जहां पर स्टाम्प पेपर तथा नोट बनाने वाले कागज का उत्पादन किया जाता है। इसके अतिरिक्त यहां पर वर्ष 2015 में सिक्योरिटी प्रिंटिंग नोट प्रेस की स्थापना की गई।
  • बैंक नोट प्रेस की स्थापना वर्षा 1974 मे देवास में की गई , जहां 5 ,10 ,20 ,  50 , 100 कथा ₹500 के नोट छापे जाते हैं।
  • टिशू पेपर का कारखाना डॉ. अंबेडकर नगर नगर (महू, इंदौर ) में स्थित है।

बीड़ी उद्योग (Bidi Industry)

  • भारत में बीड़ी उद्योग में प्रयुक्त होने वाले तेंदू पत्ते का 60% उत्पादन मध्य प्रदेश में होता है। में होता है। जबलपुर , सागर , कटनी ,  दमोह , सतना आदि के प्रमुख क्षेत्र हैं। राज्य में लगभग 280 बीड़ी  कारखाने स्थापित है।

कत्था उद्योग (Catechu Industry)

  • कत्था एक उपयोगी वनोत्पाद है। राज्य के शिवपुरी तथा बानमोर (मुरैना) में कत्था निर्माण के सरकारी कारखाने स्थापित किए गए हैं।

लाख उद्योग (Lac Industry)

  • लाख एक प्राकृतिक रेजिन (राल) है , जो केरिया लेक्का (Kerdiya Lacca) नामक कीट द्वारा स्त्रावित किया जाता है। यह बबूल , कुसुम आदि वृक्षों की पत्तियों पर पाला जाता है।
  • लाख का उपयोग चूड़ी , खिलौने ,स्याही  तथा पॉलिश के निर्माण में तथा स्थायी मोहर (ठप्पा) लगाने में किया जाता है। मध्यप्रदेश के उमरिया जिले में लाख का सरकारी कारखाना स्थापित किया गया है।

लकड़ी उद्योग (Wood Industry)

  • मध्य प्रदेश की  समृद्ध वन संपदा में साल एवं सागौन जैसी बहुमूल्य लकड़ी पायी जाती है। राज्य में लकड़ी चीरने का सबसे बड़ा कारखाना केंद्र सरकार की सहायता से मनेरी (मंडला) में स्थापित किया गया है। इसके अतिरिक्त लकड़ी चिराई चिराई इसके अतिरिक्त लकड़ी चिराई उद्योग का प्रमुख केंद्र जबलपुर है।

प्लाईवुड उद्योग (Plywood Industry)
  • मध्य प्रदेश के  इटारसी वर्ष 1964 में प्रथम प्लाईवुड कारखाना तथा वर्ष 1979 में नर्मदा वुड नामक कारखाना स्थापित किया गया।
  • छिंदवाड़ा एवं कौसमी (बैतूल)  में प्लाईवुड तथा नक्काशीदार लकड़ी कारखाना स्थित है।
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2 comments:

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