राष्‍ट्रीय हथकरघा दिवस 2023 : इतिहास उद्देश्य महत्व | National Handloom Day: 2023

राष्‍ट्रीय हथकरघा दिवस 2022 : इतिहास उद्देश्य महत्व

राष्‍ट्रीय हथकरघा दिवस 2022 : इतिहास उद्देश्य महत्व | National Handloom Day: 2022


राष्‍ट्रीय हथकरघा दिवस 2023 : इतिहास उद्देश्य महत्व

07 अगस्त, को राष्ट्रीय हथकरघा दिवस’ आयोजित किया जाता है . राष्ट्रीय हथकरघा दिवस के आयोजन का प्राथमिक उद्देश्य आम जनता के बीच हथकरघा उद्योग के बारे में जागरूकता पैदा करना और सामाजिक-आर्थिक विकास में इसके योगदान को रेखांकित करना है। इसके अलावा यह दिवस भारत की हथकरघा विरासत की रक्षा करने व हथकरघा बुनकरों एवं श्रमिकों को अधिक अवसर प्रदान करने पर भी ज़ोर देता है। 


07 अगस्त को क्यों मनाया जाता है राष्‍ट्रीय हथकरघा दिवस 

इस दिन को राष्ट्रीय हथकरघा दिवस के रूप में इसलिये चुना गयाक्योंकि ब्रिटिश सरकार द्वारा किये जा रहे बंगाल विभाजन का विरोध करने के लिये वर्ष 1905 में इसी दिन कलकत्ता टाऊन हॉल में स्वदेशी आंदोलन आरंभ किया गया था और विदेशी वस्तुओं का बहिष्कार कर भारतीय उत्पादों को प्रोत्साहित करने की घोषणा की गई थी। 


पहली बार राष्‍ट्रीय हथकरघा दिवस कब मनाया गया था ?

तकरीबन एक सदी तक इस दिवस के महत्त्व को देखते हुए वर्ष 2015 में प्रधानमंत्री द्वारा पहले ‘राष्ट्रीय हथकरघा दिवस’ का उद्घाटन किया गया। ज्ञात हो कि भारत का हथकरघा क्षेत्र देश की गौरवशाली सांस्कृतिक विरासत का प्रतीक है। भारत की सॉफ्ट पावर को लंबे समय से हथकरघा और हस्तशिल्प क्षेत्र द्वारा समर्थन दिया गया है। 'खादी डिप्लोमेसीइसी का एक उदाहरण है। भारत में कपड़ा और हथकरघा क्षेत्र कृषि के बाद लोगों के लिये रोज़गार व आजीविका का दूसरा सबसे बड़ा स्रोत है। 

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